नये क्षितिज की ओर:
( युवतियों के लिए नए करिअर आप्शन)
आजकल जब देश का युवा 12वीं करके निकलता है तो आगे
क्या कोर्स करूँ ? यही चिंता सताती है और वो जिससे एक शानदार करियर का आगाज कर
सके, यही सोचता है. और ये देश की लड़कियों के सामने अधिक परेशान करने वाला
होता है क्योंकि उनके लिए सही करिअर चुन पाना आज भी एक समस्या है. तो आइये जाने
उनके लिए कुछ करिअर आप्शन:-
1. रेडियो ज़ोकी—आजकल एफ़ एम रेडियो की धूम मची है. इसके लिए आपका
एक अच्छा वक्ता होना जरुरी है. आपमें प्रेजेंटेशन स्किल याने अपनी बात को बेहतर
तरीके से कहना आना चाहिए. आवाज दमदार हो और उच्चारण साफ़ हो और विषय के हिसाब से
आपकी आवाज पर आपका नियंत्रण होना आवश्यक है., अच्छा हो की आप अपना खुद का बोलने का
style डेवेलोप करें. बातों को मजेदार व कोमेडी से भरपूर रखने के साथ ही स्थानीय
बोली भी आना चाहिए और बॉलीवुड और संगीत की जानकारी के बिना तो रेडियो ज़ोकी तो
अधुरा ही मना जायेगा. आर जे बनने के लिए अपनी voice pitch पर जरुर काम करें.
2.एयर होस्टेस-
हवाई सपनों और दूसरे देशों कि यात्रा और एक अच्छी सेलेरी के लिए इससे बेहतर करियर
आप्शन हो ही नहीं सकता. यात्रियों उनके द्वारा बार-बार बुलाने या किसी भी तरह के सवाल पूछे जाने पर मुस्कराकर और
धैर्य से पेश आना और अपने आप को presentable रखना इस जॉब की आवश्यक शर्त है. आपका
प्रेसेंस ऑफ़ माइंड और यात्रियों की जरुरत का हँसते हुए ध्यान रखना और चुनौतीपूर्ण
परिस्थिति को सूझबूझ से सम्हालने का टेक्ट आपमें होना जरुरी है. ये जॉब के लिए 12
वीं के बाद अप्लाई किया जा सकता है. इंग्लिश भाषा का ज्ञान खासकर fluently बोलना
आना चाहिए और इसके साथ ही कोई दो विदेशी भाषा का पूर्ण जानकार होना जरुरी है.
3. हेयर
स्टाइलिस्ट:- ग्लैमर और चकचौंध की दुनिया में करिएर बनने के लिए ये आप्शन चुना
जा सकता है. ये एक आर्ट है. इस करिएर को चुनने के लिए आपको बालों के प्रकारों और
उसके हिसाब ने उनकी जरूरतों और उनके ट्रीटमेंट की जानकारी होना बेहद जरुरी है. और
इसके लिए केमिकल्स, कास्मेटिक्स, हेयर कलर, हेयर कंडीशनर इन सबकी जानकारी और ऐसे
प्रोफेशनल काम करना भी आना चाहिए. आपमें creativity का होना बेहद जरुरी है तभी आप
चेहरे के लुक के हिसाब से किसी का भी हेयर style और मेकअप कर पायेंगे. इस फील्ड
में इस्तेमाल होने वाले इलेक्ट्रॉनिक उपकरणों को चलने और उनके देखभाल का प्रशिक्षण
लेना जरुरी है. इस काम की शुरुआत आप किसी भी हेयर सैलून में बतौर ट्रेनी से कर
सकते है.
4.दुभाषिया-अनुवादक-
विदेशी भाषा का जानकार होना करिएर आप्शन के हिसाब से एक शानदार फील्ड है. अनुवादक और इंटरप्रेटर के रूप में काम
करने के लिए विभिन्न विदेशी भाषाएं- स्पैनिश, जर्मन, फ्रेंच और चाइनीज की मांग बढ़ती जा रही
है. मल्टीनेशनलकंपनी, टूरिज्म, फाइव स्टार होटल्स, एम्बेसी ये कुछ ऐसे क्षेत्र हैं
जहाँ अनुवादक या इन्टरप्रेटर की आज बेहद डिमांड है.
5.मोडलिंग-
ग्लैमर से जुड़ी दुनिया में इंटर करने के लिए ये एक अच्छा आप्शन है. इसके लिए पहले
किसी स्टाइलिस्ट और fashion फोटोग्राफर से अपना पोर्फोलियो बनवा लें और उसे किसी
एड एजेंसी को दें जो आपके प्रोफाइल के हिसाब से आपको मोडलिंग का काम दिलवा सके.
मोडलिंग में आपके लिए कई दरवाजे खुले हैं. आप टेलीविज़न मोडलिंग या फिर रैंप
मोडलिंग या फिर स्टील मोडलिंग या फिर शोरूम मोडलिंग कर सकती हैं पर इस बात का
ध्यान रखें की कहीं ग्लैमर की चमक मेमन आप अपना शोषण न करवा बैठें.
6.इंटीरियर डिजाइनिंग - इसके लिए आपका creative होना पहली शर्त है. घर को नया लुक देने, उसे
व्यवस्थित ढंग से रखने और एक तयशुदा बजट में घर को सुंदर और सुरुचिपूर्ण लुक देने
का स्किल हो उनके लिए ये एक शानदार करीअर है. इसके लिये अपने आसपास के पर्यावरण,
फंगशुई व वास्तु का अच्छा ज्ञान, मनोविज्ञान की अच्छी समझ, ड्राइंग और वास्तुकला
का ज्ञान होना जरुरी है क्योंकि इंटीरियर डिजाइनिंग इन सब बातों पर आधारित होती
है. इसके लिए देश के संस्थाओं में इंटीरियर डिजाइनिंग का डिप्लोमा और डिग्री कोर्स
उपलब्ध है.
7.स्क्रिप्ट्स राइटर- अगर आपमें लेखन की कला है तो इस फील्ड में
अपना हाथ आजमा सकते हैं. बेशक ये काम कविता या कहानी लिखने से अलग है और ये एक तरह
का कहानी लेखन ही है पर ये फिल्म या टी वी सिरिअल के लिए लिखी जाने वाली कहानी की
तकनीकि कला है और इसका प्रबाव इसके फिल्मांकन के बाद ही सामने आता है. स्क्रिप्ट
लेखन याने पटकथा लेखन का कोई अलग से कोर्स नहीं होता ये जर्नलिज्म के कोर्स के
अंतर्गत आता है. इसमें कम से कम शब्दों में अपनी बात सामने तक पहुंचाने की कला
होनी चाहिए ताकि किसी प्रोडक्ट की खूबियाँ सामने वाले या देखने वाले तक आपकी बात
पहुंच सके.
8.आर्ट डिज़ाइनर- ये करिअर TV से लेकर फिल्म बनने तक काम आता है, इसे लिए
आपका creative होना बेहद जरुरी है. अगर बड़ी मूवीज जैसे रामलीला, देवदास या फिर
रामायण या अशोका जैसे TV सीरियल रहे हों सबमें एक बात कॉमन थी और वे थे उनके भव्य
सेट. आर्ट या सेट designer का काम यहीं से शुरू होता है. इसके लिए एस्थेटिक सेन्स,
रिसर्च स्किल, creative स्किल और फिल्म से सम्बंधित तकनिकी ज्ञान होना आवश्यक है.
स्पेस का इस्तेमाल, सेट डिजाईन करना और उसका लेआउट समझना और स्टोरी को विज़ुलाइस
करने की क्षमता हो तो सेट या आर्ट डिज़ाइनर सही करिएर आप्शन है.
वीणा सेठी
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